पौड़ी। उत्तराखंड के राज्य बने 21 साल हो चुके हैं लेकिन आज भी उत्तराखंड मूलभूत सुविधाओं से वंचित हैं। सड़क और स्वास्थ्य सेवाओं के लिए आज भी पर्वतीय इलाकों में ग्रामीण आंदोलन करने को मजबूर हैं। अब नन्हे नन्हे बच्चे भी अनशन करने और धरने पर बैठने को मजबूर हो गए हैं। अंदाजा लगाया जा सकता है जहां एक ओर सीएम धामी बड़ी बड़ी योजनाओं का शिलान्यास और घोषणा कर रहे हैं वहीं दूसरी ओर पौड़ी के एक गांव में सड़क और पुल की मांग के लिए छोटे छोटे बच्चे जुलूस निकाल रहे हैं। जी हां आपको जानकर हैरानी होगी कि दुगड्डा ब्लाक के जुवा, बंगला और भैड़ गांव के बच्चों के हाथ में किताबों की जगह बैनर व तख्तियों ने ले ली है। लंगूरगाड नदी पर पुल के निर्माण की मांग को लेकर भूख बर्दाश्त न कर पाने वाले नौनिहाल दिनभर अनशन पर बैठे रहे। वैसे तो पुल निर्माण के लिए नदी के तट पर ग्रामीणों का अनशन 20 दिन से चल रहा है। अब ग्रामीणों को छोटे छोटे बच्चों का साथ मिल रहा है। जन आंदोलन के गर्भ से जन्मे राज्य की भावी पीढ़ी के हाथ में मांगों का बोझ राज्य के विकास के दावों की पोल खोलता है।

By admin

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

You missed